क्या आप जानते हैं कि पिछले महीने भारत में रिकॉर्ड तोड़ मॉनसून आया? अगस्त 2025 में बहुत ज्यादा बारिश हुई, जिससे कई जगहों पर बाढ़ और भूस्खलन का सामना करना पड़ा। अगर आप इस मौसम में सुरक्षित रहना चाहते हैं तो कुछ बेसिक टिप्स जानना ज़रूरी है। इस लेख में हम हाल के मौसम अपडेट, अलर्ट और बचाव के आसान उपायों को सरल शब्दों में समझेंगे।
मौसम विभाग ने उत्तराखंड के छह जिलों में भारी बारिश के लिए यलो अलर्ट दिया है। यहाँ की पहाड़ी इलाकों में नदियों का जलस्तर जल्दी बढ़ सकता है, इसलिए घर से बाहर निकलने से पहले स्थानीय समाचार देखना बेहतर रहेगा। उसी तरह, पंजाब, जम्मू‑कश्मीर और हिमाचल प्रदेश में बाढ़ की स्थिति गंभीर थी। अगर आप इन क्षेत्रों में रहते हैं तो बचाव सामग्री (कुंदा, रेट, टॉर्च) तैयार रखें और उच्च स्तर के इलाकों में रहने वाले लोगों को सतर्क करें।
हवा नहीं, बल्कि तूफान भी कई बार हमारी ज़िंदगी को उलट‑पलट देता है। अभी हाल ही में कैरेबियन में कैटेगरी‑4 तूफान Beryl ने अपना रास्ता बनाया है। यद्यपि यह भारत से दूर है, लेकिन मौसम विज्ञानियों ने बताया कि ऐसी बड़ी प्रणाली का प्रभाव एक‑दो दिन में एशिया के समुद्री मौसम को भी बदल सकता है। यदि आप समुद्र तट के पास रहते हैं, तो सड़कों की स्थिति, बिजली कटौती और जल स्तर पर नजर रखें।
अब बात करते हैं कुछ आसान उपायों की, जिन्हें अपनाकर आप खुद और अपने परिवार को सुरक्षित रख सकते हैं:
इन छोटे‑छोटे कदमों से आप भारी बारिश या बाढ़ के समय खुद को काफी हद तक सुरक्षित रख सकते हैं। याद रखें, मौसम बदलता रहता है, पर आपका रवैया स्थिर रहना चाहिए।
अगर आप परीक्षा की तैयारी में हैं, तो मौसम की ताज़ा जानकारी आपके पढ़ाई के समय को भी प्रभावित कर सकती है। कई बार बारिश की वजह से स्कूल या कॉलेज बंद हो जाता है, इसलिए एडवांस में अपने नोट्स को ऑनलाइन सेव करके रखें। इस तरह आप बिना रुकावट के पढ़ाई जारी रख सकते हैं।
अंत में एक बात और कहना चाहूँगा—मौसम समाचार सिर्फ खबर नहीं, यह आपकी जिंदगी के लिए एक गाइड है। आज की खबरें पढ़कर आप अगले कुछ दिनों में होने वाले बदलावों के लिए तैयार रहेंगे। तो हर सुबह जल्दी उठें, मौसम विभाग की रैपोर्ट देखें और अपने परिवार को भी बताएं। सुरक्षित रहें, स्वस्थ रहें!
अगस्त 2025 में देशभर में रिकॉर्ड तोड़ बारिश से बाढ़ और भूस्खलन ने तबाही मचाई। 100 से ज्यादा लोगों की जान गई, लाखों विस्थापित हुए। जम्मू-कश्मीर, पंजाब, हिमाचल और उत्तराखंड सबसे ज्यादा प्रभावित रहे, जबकि दक्षिण भारत में भी अगस्त में 31% ज्यादा बारिश हुई। विशेषज्ञों ने इसे जलवायु परिवर्तन और अव्यवस्थित विकास से जोड़ा। सितंबर में भी तेज़ मॉनसून का अनुमान है।
उत्तराखंड के छह जिलों में भारी बारिश को लेकर मौसम विभाग ने यलो अलर्ट जारी किया है। कुछ इलाकों में मानसून की जल्दी दस्तक महसूस की जा रही है। पहाड़ी क्षेत्रों में भूस्खलन और बाढ़ का खतरा बढ़ने के चलते स्थानीय लोगों और यात्रियों को सतर्क रहने की सलाह दी गई है।
हवाओं का रुख बदलते ही Beryl तूफान कैटेगरी 4 की श्रेणी में आ गया है, जिससे कैरेबियन के द्वीप समुदायों को बड़ा खतरा होने जा रहा है। तूफान से जानलेवा तूफान, तेज हवाएं और बाढ़ जैसे हालात पैदा हो सकते हैं।