इस साल उत्तर प्रदेश में मौसम काफी बदल रहा है। साल के पहले छः महीनों में हल्की ठंड के बाद, अब जून‑अगस्त में असली गर्मी और तेज़ बारिश दोनों का खतरा बन गया है। अगर आप यूपी में रहते हैं या वहां यात्रा की योजना बना रहे हैं, तो नीचे दिए गए पॉइंट्स को ध्यान में रखें।
इंस्टिट्यूट ऑफ़ मेटियोरोलॉजी (IMD) ने उत्तर प्रदेश के कई ज़िलों में भारी बारिश का अलर्ट जारी किया है। खासकर लखीमार, बड़ौदा और आगरा में जुलाई‑अगस्त में 150 mm से ऊपर की वर्षा की संभावना है। बारिश के साथ बाढ़ और भूस्खलन का जोखिम भी बढ़ जाता है, इसलिए नीचे बताया गया कुछ आसान उपाय अपनाएँ:
गांव-शहर दोनों में अल्पकालिक बाढ़ के कारण सड़कों पर जल जमाव हो सकता है। इस दौरान सार्वजनिक परिवहन में देरी या रद्दीकरण की संभावना रहती है, इसलिए यात्रा की योजना बनाते समय वैकल्पिक रूट या समय स्लॉट रखें।
जून के मध्य से उत्तर प्रदेश में तापमान 40 °C से ऊपर जा रहा है। ऐसे में हल्का कपड़ा, पर्याप्त पानी और धूप से बचना आवश्यक है। खासकर बुजुर्ग और छोटे बच्चों को गर्मी के तनाव (हीट स्ट्रेस) से बचाने के लिए:
किसानों के लिए भी यह समय महत्वपूर्ण है। पिचाई के समय बीजों को अच्छी तरह उगाने के लिए टन टन में नमी बनाए रखना जरूरी है, लेकिन जलजमाव से बचना भी उतना ही आवश्यक है। यदि आप खेती कर रहे हैं, तो कुछ फसलें जैसे धान को देर से रोपण कर सकते हैं ताकि बाढ़ के जोखिम को कम किया जा सके।
अंत में, मौसम की ताजा जानकारी के लिए IMD की आधिकारिक वेबसाइट या मोबाइल ऐप पर रीयल‑टाइम अलर्ट देखना न भूलें। सोशल मीडिया पर भी स्थानीय मौसम समूह सक्रिय रहते हैं, जहाँ से आप अपने इलाके की स्थिति जल्दी पता कर सकते हैं।
सारांश में, उत्तर प्रदेश में इस साल दोहरी चुनौती – तेज़ बारिश और भयानक गर्मी – सामने है। तैयार रहिए, सुरक्षित रहिए और मौसम के साथ तालमेल बिठाकर अपनी दैनिक ज़िंदगी को सहज बनाइए।
भारतीय मौसम विभाग ने होली के दिन, 12 मार्च 2025, को उत्तर प्रदेश के कई हिस्सों में बारिश का अलर्ट जारी किया है। मेरठ, लखनऊ और नोएडा में इस मौसम अलर्ट से रंगों के त्योहार पर असर पड़ सकता है। यहां बारिश और तेज हवाओं के चलते समारोह में रुकावट की आशंका है। लोगों को सलाह दी गई है कि वे ताजातरीन मौसम अपडेट्स पर नजर रखें।